कक्षा दसवीं हिंदी-2 अभ्यास शीट -88

 कहती अपलक तरावलि,

अपनी आँखों का अनुभव,

अवलोक आँख आंसू की

भर आतीआँखें नीरव ‌

 

प्र:-1.तारों की पंक्तियां संसार को एकटक देख रही हैं। (हाँ अथवा नहीं)

प्र:- 2.सारे जग का जीवन सुख से भरा हुआ है।( सही अथवा गलत)

प्र:- 3. कहती अपलक ……अपनी आंखों का अनुभव।(रिक्त स्थान भरें। )

प्र:- 4.सही मिलान करें :-

          नीरव            पंकज

                             मौन

                             जल

प्र:- 5.प्रस्तुत पद्यांश का केंद्रीय भाव संसार के लोगों के दुख के प्रति तारों की सहानुभूति का चित्रण करना है। (सही अथवा गलत)

 

 

उत्तर तालिका:- (1) हाँ (2) गलत (3) तारावलि(4) मौन (5) सही

 

प्रस्तुति:-

पूजा रानी, हिन्दी अध्यापिका, स.स.स.स्कूल, बोड़ा, ज़िला:- होशियारपुर ।