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पाठ-01 (हिम्मत करने वालों की हार नहीं होती- डाॅ. हरिवंशराय बच्चन) कक्षा-आठवीं

                                                                   पाठ-01 

                                              हिम्मत करने वालों की हार नहीं होती- डाॅ. हरिवंशराय बच्चन 

1. हिम्मत करने बालों की हार नाहीं होती 

लहरों से डरकर नैया पार नहीं होती।

प्रसंग- यह पद्यांश हिन्दी की पाठ्य पुस्तक में संकलित कविता 'हिम्मत करने वालों की हम नहीं होती' में से लिया गया है। इसके कवि डाॅ. हरिवंश राय बच्चन हैं।इसमें कवि हमें संघर्ष करने के लिए कहते हैं।

व्याख्या- कवि के अनुसार जो लोग जीवन में हिम्मत करते हैं, और कड़ी मेहनत करते हैं उनकी कभी हार नहीं होती अर्थात् उन्हें जीत की प्राप्ति होती है।

  लहरों से डरकर कभी नाव किनारे नहीं लगती अर्थात जो लोग कठिनाइयों  से घबरा जाते हैं वे कभी अपने लक्ष्य  को प्राप्त नहीं कर सकते।

2.नन्ही चींटी जब दाना लेकर चलती है ,

चढ़ती दीवारों पर सी बार फिसलती है,

 घन का विश्वास रगों में साहस भरता है,

 चढ़कर गिरना, गिरकर चढ़ना न अखरता है,

 आखिर उसकी मेहनत बेकार नहीं होती,

 कोशिश करने वालों की हार नहीं होती।

व्याख्या-कवि कहते हैं कि एक छोटी-सी चींटी जब अपने मुँह में दाना लेकर चलती है तो वह दीवार पर चढ़ते हुए कितनी ही बार फिसल जाती है। किन्तु उसके मन में विश्वास होता है जो उसकी रगों में  साहस भरता  है। जिससे उसे अपना बार-बार गिरना और चढ़ना बुरा नहीं लगता। अंत में उसकी मेहनत और कोशिश रंग लाती है और वह अपनी मंज़िल तक पहुँच जाती है।  यह बिल्कुल सच है कि जीवन में कोशिश करने वाले लोगों की कभी हार नहीं होती अर्थात् अर्थात उन्हें  विजय मिलती हैं और उनका प्रयास सफल होता है।

4.असफलता एक चुनौती है, स्वीकार करो, 

क्या कमी रह गई, देखो और सुधार करो, 

जब तक न सफल हो, नींद चैन से त्यागो तुम, 

संघर्ष करो मैदान छोड़ो मत भागो तुम, 

कुछ किए बिना ही जय-जयकार नहीं होती, 

हिम्मत करने वालों की हार नहीं होती ।

व्याख्या- कवि मनुष्य को संघर्ष करने की प्रेरणा देते हुए कहते हैं कि जीवन में असफलता एक चुनौती है और इसे स्वीकार करना चाहिए।  तुम्हारे काम में क्या  कमी रह गई उसे देखकर सुधार करना चाहिए और जब तक तुम्हें सफलता न मिले तुम  अपनी नींद और आराम को  त्याग दो और लक्ष्य  प्राप्ति  तक संघर्ष  करो । संघर्ष से कभी पीछे मत हटो। जीवन में कुछ  किए बिना कभी किसी की जय-जयकार नहीं  होती। हिम्मत करने वालों की कभी  भी हार नहीं होती।

                                                                     अभ्यास 

1 नीचे गुरुमुखी और देवनागरी लिपि में दिये गये शब्दों को पढ़ें और हिन्दी शब्दों को लिखने का अभ्यास करें:-

 ਹਾਰ- हार

ਨੀਂਦ-नींद

ਮੁੱਠੀ - मुट्ठी

ਮੋਤੀ-मोती

ਲਹਿਰ-   लहर

ਜੈ-ਜੈਕਾਰ-जय-जयकार

2. नीचे एक ही अर्थ के लिए पंजाबी और हिन्दी भाषा में शब्द दिये गये हैं। इन्हें ध्यान से पढ़े और हिन्दी शब्दों को लिखें :-

ਹੌਸਲਾ- हिम्मत

ਜੋਸ਼-उत्साह

ਨਾੜੀ, ਨਸ = रग

ਕੀੜੀ- चींटी

 ਕਿਸ਼ਤੀ- नैया

 ਦੁਗਣਾ- दूना


3. शब्दार्थ

हिम्मत -हौसला

नैया -जीवन रूपी नैया

रग- नाड़ी, नस

सिन्धु -सागर, समुद्र

गोताखोर-पानी में डुबकी लगाने वाला

सहज ही-आसानी से

चुनौती- ललकार

चैन'आराम

4 .इन प्रश्नों के उत्तर एक या दो वाक्यों में लिखें:-

(क) कवि के अनुसार किन लोगों की हार नहीं होतीं ?

उत्तर- कवि के अनुसार हिम्मत करने वालों कभी हार नहीं होती।

(ख) नन्हीं चींटी की क्या विशेषता है?

उत्तर- नन्हीं चींटी बहुत  मेहनती है और वह कभी हार  नहीं मानती।

(ग) गोताखोर सिंधु में डुबकियाँ क्यों लगाता है ?

उत्तर- गोताखोर मोती लाने के लिए सिंधु में डुबकियाँ लगाता है।

(घ) हिम्मत करने वालों को असफलता को किस रूप में स्वीकार करना चाहिए?

उत्तर-हिम्मत करने वालों को असफलता को चुनौती के रूप में स्वीकार  करना चाहिए। 


प्रश्न 3 इन प्रश्नों के उत्तर चार या पाँच वाक्यों में लिखें:-

(1) 'चढ़कर गिरना, गिरकर चढ़ना न अखरता है' यह पंक्ति कवि ने किसके लिए कह और क्यों?


उत्तर- उपर्युक्त  पंक्ति कवि ने चींटी के लिए कही है क्योंकि चींटी जब  दीवार पर चढ़ती है तो बार- बार फिसल कर गिरती है परंतु वह भी हार नहीं मानती और अंत में वह साहस के साथ दीवार पर चढ़ ही जाती है।


(ii) गोताखोर को सागर से मोती निकलने के लिए क्या-क्या करना पड़ता है ?

उत्तर- गोताखोर को सागर से मोती निकालने के लिए सागर में बार-बार डुबकियाँ लगानी पड़ती हैं। कई  बार उसे खाली हाथ लौटना पड़ता है। परन्तु वह हिम्मत नहीं छोड़ता और हर बार दुगने उत्साह  के साथ डुबकी लगाता है और अंत में

वह मोती निकाल ही लाता है।


(iii) इन काव्य-पंक्तियों की सप्रसंग व्याख्या करें:-


असफलता एक चुनौती....................... मत भागो तुम।


उत्तर-कवि मनुष्य को संघर्ष करने की प्रेरणा देते हुए कहते हैं कि जीवन में असफलता एक चुनौती है और इसे स्वीकार करना चाहिए।  तुम्हारे काम में क्या  कमी रह गई उसे देखकर सुधार करना चाहिए और जब तक तुम्हें सफलता न मिले तुम  अपनी नींद और आराम को  त्याग दो और लक्ष्य  प्राप्ति  तक संघर्ष  करो । संघर्ष से कभी पीछे मत हटो। जीवन में कुछ  किए बिना कभी किसी की जय-जयकार नहीं  होती। हिम्मत करने वालों की कभी  भी हार नहीं होती।


6. पर्यायवाची शब्द लिखें :-


लहर -तरंग , कंप

नैया -नाव , किश्ती

कोशिश - प्रयास , प्रयल

सिन्धु -सागर , समुद्र

उत्साह - जोश , हिम्मत 

हाथ - कर ,  हाथ

संघर्ष - टकराव, युद्ध

हिम्मत-  साहस , उत्साह 


7. विपरीत अर्थ वाले शब्द लिखें :-


नन्ही - बड़ी 

मेहनत- आलस्य 

विश्वास - अविश्वास

सफल - असफल

हार -जीत

साहस - कायरता


8. 8. संज्ञा शब्द चुनकर सही का निशान (√) लगाओ:-


     □ डरकर        ■दाना       ■ मोती     

     ■चींटी             □ जब      □देखो

     □   चढ़ना        ■हाथ        □असफलता

     ■सिन्धु            □ साहस     ■पानी



तैयारकर्ता:- किरन(हिंदी शिक्षिका) सरकारी मिडल स्कूल जोगेवाला (पटियाला)

                गुरप्रीत कौर(हिंदी शिक्षिका)स.ह.स.लापरा(लुधियाना)

संशोधक:- विनोद कुमार(हिंदी शिक्षक) सरकारी हाई स्कूल बुल्लेपुर(लुधियाना)